बाल तस्करी निरोधक प्रकोष्ठ की बड़ी कामयाबी, अब तक 964 बच्चों को बचाया गया

तत्कालीन कार्यवाही करते हुए एनसीपीसीआर मैं सारण के पुलिस अधीक्षक डॉक्टर कुमार आशीष को एक वृत्त बचाव अभियान शुरू करने का निर्देश दिया।

बाल तस्करी निरोधक प्रकोष्ठ की बड़ी कामयाबी  ,अब तक 964 बच्चों को बचाया गया 

  • रिपोर्ट : मुकेश कुमार : क्राइम एडिटर इन चीफ : नई दिल्ली। 

राष्ट्रीय बाल अधिकार संरक्षण आयोग बाल तस्करी के ख़िलाफ़ अपनी लड़ाई में एक बड़ी सफलता हासिल कर रहा हैं।

जिसने बाल तस्करी निरोधक प्रकोष्ठ के गठन के बाद से अब तक लगभग 964 बच्चों को बचाया है।

यह जानकारी एनसीपीसीआर ने रविवार को दी।

आयोग ने जानकारी देते हुए बताया कि बिहार के सारण जिले में स्थानीय आर्केस्ट्रा समय से 17 नाबालिक लड़कियों को हाल ही में बचाने की सूचना दी।

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एनपीसीपीआर को एक गैर सरकारी संगठन से प्राप्त जानकारी के बात यह सफल बचाव अभियान शुरू हुआ। सूचना में बताया गया था कि क्षेत्र में स्थानीय आर्केस्ट्रा समूह कई नाबालिक लड़कियों को अश्लील नृत्य करने के लिए मजबूर कर रहे थे।

तत्काल कार्यवाही करते हुए, NCPCR ने सारण के पुलिस अधीक्षक डॉ कुमार आशीष को एक त्वरित बचाव अभियान शुरू करने का निर्देश दिया।

एसपी ने मसरख, पानापुर और इसुआपुर के पुलिस स्टेशनों के पुलिस अधिकारियों से मिलकर एक विशेष बचाव दल का गठन किया।

इस समन्वित अभियान के परिणाम स्वरूप 17 नाबालिक लड़कियों को बचाया गया। मसरख से छह, पानापुर से सात , इसुआपुर से चार।

बचाई गई सभी लड़कियों को बाल कल्याण समिति के सामने पेश किया गया है। जो अब उनकी देखभाल और पुनर्वास की प्रक्रिया का पर्यवेक्षक कर रही है।

घटना की गहन जांच भी चल रही हैं। वह बच्चों के अधिकारों की रक्षा के लिए अपनी अटूट प्रतिबद्धता रखता है। जैसा कि भारत के संविधान और किशोर न्याय अधिनियम 2015, यौन अपराधों से बच्चों का संरक्षण अधिनियम 2012 , और बच्चों को मुफ्त और अनिवार्य शिक्षा का अधिकार अधिनियम, 2009 जैसे प्रासंगिक कानूनों में निहित है।

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