खेती को नई ऊंचाइयों पर ले जाने की पहल मधेपुरा, बिहार के किसान कुशीनगर में ले रहे हैं गुणवत्तायुक्त बीज उत्पादन का प्रशिक्षण 

खेती को उन्नत बनाने के लिए पांच दिवसीय प्रशिक्षण कार्यक्रम आयोजित

रिपोर्ट : अखिलेश कुमार द्विवेदी : कुशीनगर : उत्तर प्रदेश। बिहार के मधेपुरा जिले से आए 40 किसान राष्ट्रीय बीज विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी संस्थान, कुशमौर, मऊ में पांच दिवसीय प्रशिक्षण कार्यक्रम में भाग ले रहे हैं। 18 मार्च से 22 मार्च 2025 तक चलने वाले इस कार्यक्रम में उन्हें खेतीय फसलों और सब्जियों में गुणवत्तायुक्त बीज उत्पादन की आधुनिक तकनीकों की जानकारी दी जा रही है। यह कार्यक्रम संस्थान के निदेशक डॉ. संजय कुमार के मार्गदर्शन में आयोजित किया जा रहा है।

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Initiative to take farming to new heights, farmers of Madhepura, Bihar are taking training in quality seed production in Kushinagar

कार्यक्रम की शुरुआत 18 मार्च को संस्थान के निदेशक डॉ. संजय कुमार के मार्गदर्शन में पुष्प गुच्छ एवं ICAR गीत के साथ की गई। इस दौरान संस्थान के प्रधान वैज्ञानिक डॉ. अंजनी कुमार सिंह ने कार्यक्रम का संचालन किया और किसानों को खेती में नई तकनीकों को अपनाने की सलाह दी।

किसानों को आत्मनिर्भर बनने पर जोर

डॉ. अंजनी कुमार सिंह ने किसानों को संबोधित करते हुए कहा कि फसलों की नई किस्मों की खेती करना बेहद जरूरी है, क्योंकि पुरानी किस्मों पर निर्भर रहने से उत्पादन क्षमता प्रभावित होती है। उन्होंने बताया कि बीजों की मांग अधिक होने के बावजूद आपूर्ति सीमित है, इसलिए किसानों को स्वयं बीज उत्पादन पर ध्यान देना चाहिए।

बीज प्रमाणीकरण और गुणवत्ता पर विशेष प्रशिक्षण

कार्यक्रम के दौरान वरिष्ठ वैज्ञानिक डॉ. कल्याणी कुमारी ने किसानों को बीज प्रमाणीकरण की प्रक्रिया, महत्वपूर्ण फसलों के प्रक्षेत्र एवं बीज मानकों की जानकारी दी। उन्होंने बीज प्रयोगशाला में व्यावहारिक सत्र आयोजित कर किसानों को इन प्रक्रियाओं को करीब से समझने का अवसर भी दिया।

संकर बीज उत्पादन की नई तकनीकें

Initiative to take farming to new heights, farmers of Madhepura, Bihar are taking training in quality seed production in Kushinagarवैज्ञानिक डॉ. विनेश बनोथ ने किसानों को प्रमुख फसलों में संकर बीज उत्पादन प्रौद्योगिकी के बारे में जानकारी दी। उन्होंने बताया कि संकर बीजों का उत्पादन कैसे किया जाता है और इससे फसल की गुणवत्ता में किस प्रकार सुधार लाया जा सकता है।

कार्यक्रम के समन्वयक एवं प्रशिक्षक

इस प्रशिक्षण कार्यक्रम का समन्वयन डॉ. अंजनी कुमार सिंह, डॉ. आलोक कुमार, डॉ. पवित्रा वी एवं सुश्री पी. शिवम्मा कर रहे हैं। उन्होंने किसानों को इस प्रशिक्षण से अधिकतम लाभ उठाने और खेती में आधुनिक तकनीकों का समावेश करने की सलाह दी।

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