रामलला जन्मभूमि के 500 वर्षों के संघर्ष की कहानी को संरक्षित करेगा ASI
अध्यक्ष नृपेंद्र मिश्र ने कहा कि भू- तल में रामलला विराजमान हो चुके हैं तो प्रथम पर उनका पूरा परिवार इसके साथ मंदिर के द्वितीय तल पर ऐसे ग्रंथ जो अपने परिभाषा में दुर्लभ कहलाए और भगवान राम से संबंधित होंगे उनको संरक्षित किए जाने का काम किया जाएंगा।
रामलाल जन्मभूमि के 500 वर्षों के संघर्ष की कहानी को संरक्षित करेगा ASI
- रिपोर्ट : मुकेश कुमार : क्राइम एडिटर इन चीफ : अयोध्या , उत्तर प्रदेश।
अयोध्या में ASI की टीम राम जन्मभूमि स्थल पर 500 वर्षों के संघर्ष से जुड़े ऐतिहासिक तथ्यों का सर्वे कर रही हैं।एडीजी जानवी शर्मा ने स्थल का निरीक्षण किया। मंदिर निर्माण समिति के अध्यक्ष नृपेंद्र मिश्र से मुलाकात की।
दरअसल, जिस स्थान ASI की टीम सर्वे कर रही हैं, उसे पर विचार हो रहा है कि उसे स्थल को किस तरह सुरक्षित किया जाए कि 500 वर्षों के लंबे संघर्ष के बारे में आने वाली पीढ़ियां जान सकें।
निर्माण समिति के अध्यक्ष व पूर्व IAS नृपेंद्र मिश्र ने कहा कि जिस स्थान पर रामलला टेंट में विराजमान रहे और 500 वर्षों के लंबे समय के संघर्ष पर पुरातत्व विभाग की टीम रिसर्च करेगी इसकी बेहतर रिपोर्ट तैयार की जाएगी।
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सुगम दर्शन पास भी निःशुल्क जारी किया जाएंगा
राम मंदिर में विराजमान रामलाल के साथ राम दरबार के भी दर्शन भक्त कर सकेंगे। इसके लिए प्रथम तल पर लोहे की रेलिंग को लगाए जाने का कार्य शुरू हो गया है।
माना जा रहा है कि 20 जून से दर्शन की प्रक्रिया प्रारंभ कर दी जाएंगी। इसके लिए राम मंदिर में दर्शन के लिए बन रहे सुगम दर्शन पास की तरह प्रथम तल का पास भी निःशुल्क जारी किया जाएंगा।
मंदिर निर्माण समिति की दो दिवसीय बैठक के अंतिम दिन समिति के अध्यक्ष नृपेंद्र मिश्र ने बताया कि अगले 10 दिन के अंदर राम दरबार के दर्शन शुरू हो सकते हैं। जिसको लेकर ट्रस्ट इस पर विचार कर रहा है।
उन्होंने बताया कि सेंट्रल बिल्डिंग रिसर्च इंस्टीट्यूट के प्रतिनिधि इस पर चर्चा कर रहे हैं। भगवान के दरबार में जाने और आने को लेकर के राम मंदिर ट्रस्ट व्यापक इंतजाम में जुटा हुआ है। राम मंदिर परिसर में सप्त ऋषि के बीच में बनी कुंद पुष्करणी कुंड को लेकर के भी अब निर्माण कार्य भी अंतिम चरणों पर हैं।
जल्द शुरू होंगा पंचवटी निर्माण
अध्यक्ष मिश्र ने कहा कि भू- तल में रामलला विराजमान हो चुके हैं, प्रथम पर उनका पूरा परिवार इसके साथ मंदिर के द्वितीय तल पर ऐसे ग्रंथ जो अपने परिभाषा में दुर्लभ कहलाए और भगवान राम से संबंधित होंगे उनको संरक्षित किए जाने का काम किया जाएगा।
जिसका निर्धारण भी कर लिया गया है। उन्होंने कहा कि पंचवटी निर्माण में प्रकृति से कोई भी छेड़छाड़ नहीं की जाएंगी। स्थिति को सामने रखते हुए वहां पर पौधे लगाए जा रहे हैं। पशु-पक्षियों को पानी पीने और उसका लाभ लेने में कोई असुविधा न हो। जिसका निर्माण कार्य कंपनी के तहत किया जा रहा हैं। 1 महीने में इसका मास्टर प्लान भी लगभग तैयार हो जाएंगा।
राम दरबार के दर्शन में प्रतिदिन जारी होंगे 750 पास….. राम मंदिर के प्रथम तल पर राम दरबार के दर्शन करने के लिए श्री राम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट के तहत पास जारी किया जाएगा। ट्रस्ट की मानें तो एक दिन में लगभग 750 व्यक्तियों को यह पास जारी होंगा। इस बात को राम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट अपनी वेबसाइट से जारी करेगा।
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