तेलंगाना टनल हादसा, 31 दिनों के बाद यूपी के इंजीनियर का शव बरामद, उन्नाव में रहता है परिवार
22 फरवरी दिन शनिवार को सुबह करीब 8:30 बजे तेलंगाना के नगर कुरनूल जिले में करनाल का एक हिस्सा 10 में से 8 लोग अंदर फंस गए थे। अधिकारियों और कर्मचारियों को बाहर निकालने के लिए बचाव दल की टीम में जुटी हुई थी।
तेलंगाना टनल हादसा, 31 दिनों के बाद यूपी के इंजीनियर का शव बरामद, उन्नाव में रहता है परिवार
- रिपोर्ट : मुकेश कुमार : क्राइम एडिटर इन चीफ :उन्नाव तेलंगाना
तेलंगाना टनल हादसे में फंसे बांगरमऊ तहसील क्षेत्र के गांव मटुकरी के रहने वाले इंजीनियर मनोज कुमार द्विवेदीका शव बरामद हुआ है। रेस्क्यू टीम ने करीब 31 दिन बाद शव को बरामद कर लिया गया है। शव मिलने की ख़बर से जैसे घर ही घर पहुंची परिजनों और रिश्तेदारों में कोहराम मच गया। शव बुधवार को देर रात तक लाएं जाने की संभावना है।
इंजीनियरिंग मनोज कुमार द्विवेदी के बड़े भाई नरेश कुमार द्विवेदी ने बताया कि स्थानीय पुलिस द्वारा शव का पोस्टमार्टम कराया जा रहा है। कंपनी के अधिकारियों द्वारा शव को लाया जा रहा है। नगर कुरनूल तेलंगाना की दूरी करीब डेढ़ हजार किलोमीटर से भी अधिक दूर है। इसलिए इंजीनियरिंग का शव बुधवार देर रात तक लखनऊ लाएं जाने की संभावना है।
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जानकारी के मुताबिक, मनोज की मां जमुना देवी सेवानिवृत्त शिक्षिका है। पत्नी लखनऊ में सरकारी शिक्षिका है। बहनें भी शिक्षा के क्षेत्र में उच्च पदों पर कार्यरत है।
आपको बता दें कि बीतीं 22 फरवरी दिन शनिवार को सुबह करीब 8:30 बजे तेलंगाना के नागर कुरनूल जिले में टनल का एक हिस्सा धंसने से आठ लोग अंदर फंस गए थे। 13 किलोमीटर दूर सुरंग का 10 मटर का हिस्सा अचानक ढह गया था।
श्रीशैलम लेफ्ट बैंक नहर परियोजना के तहत इस टनल का निर्माण कराया जा रहा था। टनल में यूपी जिला उन्नाव के ग्राम मटुकरी निवासी इंजीनियर मनोज कुमार द्विवेदी सहित कुछ आठ कर्मचारी अंदर ही फंस गए थे। अधिकारियों और कर्मचारियों को बाहर निकालने के लिए बचाव दल की टीमें जुटी हुई थी।
इंजीनियर मनोज कुमार के टनल में फंस जाने की खबर मिलते ही ग्राम सिरौली जिला हरदोई के रहने वाले उनके बहनोई राम आश्रय उर्फ राजौल दीक्षित, रिश्तेदार आशीष कुमार, उनकी पत्नी स्वर्ण लता द्विवेदी घटनास्थल पर पहुंच गए थे। करीब 15 दिनों तक सुरंग पर रुकने के बाद हताश और निराश होकर सभी परिजन वापस लौट आएं थे।
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