Drxipa की वर्चुअल बैठक सम्पन्न: औषधि लाइसेंस प्रक्रिया को सरल और पारदर्शी बनाने पर हुआ मंथन
फार्मासिस्टों को राहत देने हेतु आधार आधारित सत्यापन, एकल खिड़की प्रणाली और दस्तावेजीकरण में कटौती के सुझाव रखे गए
- Drxipa की वर्चुअल बैठक सम्पन्न: औषधि लाइसेंस प्रक्रिया को सरल और पारदर्शी बनाने पर हुआ मंथन
- फार्मासिस्टों को राहत देने हेतु आधार आधारित सत्यापन, एकल खिड़की प्रणाली और दस्तावेजीकरण में कटौती के सुझाव रखे गए
रिपोर्ट : अशोक सोनी : कैसरगंज : बहराइच। इंटरनेशनल फार्मासिस्ट एसोसिएशन (Drxipa) उत्तर प्रदेश इकाई द्वारा गुरुवार को एक वर्चुअल बैठक का आयोजन किया गया, जिसमें औषधि लाइसेंसिंग प्रक्रिया में सुधार और सरलता लाने पर गंभीर विचार-विमर्श किया गया। बैठक की अध्यक्षता संगठन के उत्तर प्रदेश अध्यक्ष अनुज कुमार ने की, जबकि इसमें राष्ट्रीय महासचिव सरफराज अहमद और आई.टी. प्रमुख अस्मित रस्तोगी सहित कई वरिष्ठ पदाधिकारी शामिल हुए।
बैठक के प्रमुख सुझाव
डिजिटल एकल खिड़की प्रणाली: आई.टी. अध्यक्ष अस्मित रस्तोगी ने सुझाव दिया कि आधार आधारित सत्यापन और एकल खिड़की पोर्टल से फार्मासिस्टों को आवेदन प्रक्रिया में सरलता मिलेगी।
दस्तावेजों की संख्या घटे: बैठक में यह सहमति बनी कि लाइसेंस प्रक्रिया के लिए केवल अनिवार्य प्रमाणपत्र (जैसे फार्मेसी डिग्री व पहचान पत्र) को ही पर्याप्त माना जाए।
प्रशिक्षण व कार्यशाला: अध्यक्ष अनुज कुमार ने प्रस्ताव रखा कि फार्मासिस्टों को समय-समय पर लाइसेंसिंग से संबंधित नियमों व प्रक्रियाओं के प्रति जागरूक किया जाए, जिसके लिए ऑनलाइन कार्यशालाएं आयोजित की जाएं।
समयबद्ध प्रक्रिया: महासचिव सरफराज अहमद ने मांग की कि लाइसेंस स्वीकृति प्रक्रिया को 15 दिनों में पूरा करने की समयसीमा तय हो।
स्थानीय सहायता केंद्र: लाइसेंसिंग प्रक्रिया में डिजिटल सहयोग के लिए स्थानीय स्तर पर सहायता केंद्र खोले जाने का भी प्रस्ताव रखा गया।
बैठक में राष्ट्रीय उपाध्यक्ष नवीन सिंह, राष्ट्रीय महिला अध्यक्ष विनीता गौतम, राष्ट्रीय सचिव शमशेर अहमद सहित कई पदाधिकारी व राज्य के अन्य फार्मासिस्ट जुड़े।
बैठक में सभी ने इस बात पर सहमति जताई कि फार्मासिस्ट स्वास्थ्य सेवा की रीढ़ हैं और उनकी प्रशासनिक जटिलताओं को समाप्त कर, उन्हें सशक्त बनाना आवश्यक है।