कानून के शासन में बार-बेंच के साथ वादकारी भी उतना ही महत्वपूर्ण: सीएम योगी

हाईकोर्ट परिसर में ₹680 करोड़ से बने अधिवक्ता चैंबर्स और पार्किंग भवन का सीएम योगी ने किया उद्घाटन, मुख्य न्यायाधीश की मौजूदगी में रखे अहम विचार

  • कानून के शासन में बार-बेंच के साथ वादकारी भी उतना ही महत्वपूर्ण: सीएम योगी
  • हाईकोर्ट परिसर में ₹680 करोड़ से बने अधिवक्ता चैंबर्स और पार्किंग भवन का सीएम योगी ने किया उद्घाटन, मुख्य न्यायाधीश की मौजूदगी में रखे अहम विचार

रिपोर्ट : राजीव कृष्ण श्रीवास्तव : प्रयागराज। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने शनिवार को इलाहाबाद हाईकोर्ट परिसर में ₹680 करोड़ की लागत से बने नए अधिवक्ता चैंबर्स व मल्टीलेवल पार्किंग भवन का भव्य उद्घाटन किया। इस ऐतिहासिक मौके पर भारत के मुख्य न्यायाधीश न्यायमूर्ति भूषण रामकृष्ण गवई की भी गरिमामयी उपस्थिति रही।

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In the rule of law, the litigant along with bar-benches is equally important: CM Yogi

सीएम योगी ने इस अवसर पर कहा कि “कानून के शासन में केवल बार और बेंच ही नहीं, बल्कि वादकारी (litigant) का भी उतना ही महत्व है।” उन्होंने अधिवक्ताओं के संघर्ष और सेवा भावना को नमन करते हुए कहा कि “हर विपरीत परिस्थिति में न्याय की जद्दोजहद करते हुए वकील ही न्याय की रीढ़ साबित होते हैं।”

न्यायिक व्यवस्था में अधिवक्ताओं की मजबूत भूमिका

मुख्यमंत्री ने अधिवक्ताओं की दशा का जिक्र करते हुए कहा, “पेड़ के नीचे बैठकर और जर्जर चैंबरों में कार्य करने के बावजूद अधिवक्ता न्याय के लिए सतत संघर्षरत रहते हैं। अब यह आधुनिक चैंबर और पार्किंग उन्हें एक गरिमामयी वातावरण देगा।” उन्होंने बताया कि वर्तमान सरकार ने अधिवक्ता कल्याण निधि, बीमा, पेंशन व अन्य योजनाओं को गंभीरता से लागू किया है।

पार्किंग को बनाया जाए कॉमर्शियल – CM का सुझाव

सीएम योगी ने कहा कि “मल्टीलेवल पार्किंग तभी सफल होगी जब इसका कुछ हिस्सा कॉमर्शियल उपयोग के लिए आरक्षित किया जाए। इससे इसका संचालन टिकाऊ बनेगा और राजस्व भी उत्पन्न होगा।”

भारत के संविधान का अमृत वर्ष और अहिल्याबाई की जयंती

In the rule of law, the litigant along with bar-benches is equally important: CM Yogiसीएम योगी ने उद्घाटन समारोह को और भी ऐतिहासिक बताते हुए कहा, “आज ही लोकमाता अहिल्याबाई होल्कर की 300वीं जयंती है और भारत के संविधान को लागू हुए अमृत वर्ष भी। यह दोनों ही आयोजन आज के दिन को गौरवशाली बनाते हैं।”

प्रयागराज – ज्ञान, धर्म और न्याय की धरती

मुख्यमंत्री ने कहा कि “प्रयागराज उत्तर प्रदेश ही नहीं, संपूर्ण भारत की सांस्कृतिक, धार्मिक और न्यायिक राजधानी है। मां गंगा, यमुना और सरस्वती की त्रिवेणी इस भूमि को आध्यात्मिक महत्व देती है, वहीं यह शहर आधुनिक भारत के न्यायिक दृष्टिकोण को भी मजबूती से प्रस्तुत करता है।”

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