22 करोड़ की बाढ़ परियोजनाओं का जल शक्ति मंत्री ने किया लोकार्पण व शिलान्यास

लखीमपुर खीरी में शारदा नदी पुल पर महत्वपूर्ण परियोजनाओं की सौगात

रिपोर्ट : आयुष पाण्डेय : लखीमपुर खीरी। जल शक्ति मंत्री स्वतंत्र देव सिंह ने मंगलवार को पलिया में शारदा नदी पुल संख्या 97 पर 22 करोड़ रुपए की लागत वाली बाढ़ नियंत्रण परियोजनाओं का लोकार्पण और शिलान्यास किया। इस अवसर पर उन्होंने कहा कि सरकार प्रदेश के किसानों और आमजन की सुरक्षा के लिए पूरी तरह प्रतिबद्ध है।

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7 किलोमीटर तक ड्रेजिंग कार्य का शुभारंभ

Water power minister inaugurated and founded 22 crore flood projects
फोटो : पूजा अर्चना करते कैबिनेट मंत्री स्वतंत्र देव सिंह व अन्य

मंत्री ने बताया कि शारदा नदी पुल के अपस्ट्रीम और डाउनस्ट्रीम में कुल 7 किलोमीटर तक ड्रेजिंग कार्य किया जाएगा। इससे नदी के जल प्रवाह को नियंत्रित कर बाढ़ से होने वाले नुकसान को रोका जा सकेगा। यह परियोजना न केवल बाढ़ नियंत्रण में मदद करेगी, बल्कि आसपास के किसानों को भी राहत देगी।

नेपाल से आने वाले पानी पर सरकार की नजर

Water power minister inaugurated and founded 22 crore flood projects
नेपाल से हर साल आने वाले अतिरिक्त पानी की वजह से उत्तर प्रदेश के कई इलाकों में बाढ़ की स्थिति उत्पन्न हो जाती है। इस विषय पर बात करते हुए स्वतंत्र देव सिंह ने कहा, “नेपाल से पानी आता है तो यह अच्छी बात है, लेकिन हमें यह सुनिश्चित करना होगा कि इससे किसी को कठिनाई न हो। सरकार बाढ़ से निपटने के लिए पूरी तैयारी कर रही है।”

किसानों के लिए सिंचाई हुई आसान

मंत्री ने कहा कि किसानों की उन्नति ही किसी प्रदेश की प्रगति का आधार होती है। योगी सरकार के प्रयासों से किसानों के लिए खेती करना आसान हुआ है। राज्य में नए नलकूपों के निर्माण से सिंचाई की सुविधा बेहतर हुई है, जिससे किसानों को डीजल पर होने वाले अतिरिक्त खर्च से राहत मिली है।

उन्होंने यह भी कहा कि जल संसाधनों के कुशल प्रबंधन से प्रदेश में कृषि का विकास तेजी से हो रहा है और सरकार किसानों की हर समस्या का समाधान करने के लिए तत्पर है।

सरकार की बाढ़ नियंत्रण नीति

Water power minister inaugurated and founded 22 crore flood projectsप्रदेश सरकार बाढ़ नियंत्रण के लिए लगातार कार्य कर रही है। हाल ही में शुरू की गई योजनाओं के तहत नदियों की ड्रेजिंग, तटबंधों की मरम्मत और जलनिकासी के उपायों को प्राथमिकता दी जा रही है। मंत्री ने कहा कि बाढ़ से बचाव के लिए आधुनिक तकनीकों का उपयोग किया जा रहा है, जिससे भविष्य में जनधन की हानि को रोका जा सके।

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